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Tuesday, October 2

सफ़लता चाहिए तो स्वार्थी बनो | Hindi Motivational Article

सफ़लता चाहिए तो स्वार्थी बनो | Hindi Motivational Article


 सफ़लता चाहिए तो स्वार्थी बनो | Hindi Motivational Article

स्वार्थी या सेल्फिश – ये वर्ड सुनते ही आपके दिमाग में पहला ख्याल क्या आता है  ?

हमारे दिमाग में एक ऐसे इंसान की तस्वीर आती है जो अक्सर अपने फायेदे के लिए दूसरों को धोखा देता हो.. है न

लेकिन क्या आप जानते हैं की अगर एक सही तरीके से स्वार्थी या सेल्फिश बना जाए तो इससे हम अपनी जिंदगी में बहुत कुछ हासिल कर सकते हैं वो भी बिना किसी को धोखा diye यान बिना किसी का नुक्सान किये .

नमस्कार दोस्तों स्वागत है आप सभी का सक्सेस टीवी पर और आज हम बात करेंगे एक ऐसी क्वालिटी के बारे में जो लगभग हर सफल इंसान में पायी जाती है, अगर आपने ये एक क्वालिटी अपने अन्दर पैदा कर ली – तो यकीन मानिये आप ऐसी बहुत सारी अनचाही सिचुएशन से बच सकते हैं जो जाने अनजाने आपको दुखी – निराश और परेशान करती रहती हैं.

सफ़लता चाहिए तो स्वार्थी बनो
सफ़लता चाहिए तो स्वार्थी बनो

आज हम लोग बात करेंगे सेल्फिश्नेस की – क्या ये हमारे अन्दर होनी चाहिए-और अगर होनी चाहिए तो कैसे और किस हद तक होनी चाहीये ….

अक्सर जो इंसान दूसरों को अपने फायेदे के लिए धोखा देता है उसे हम लोग सेल्फिश कहते है,

लेकिन क्या आप जानते हैं की आपके आस पास के ज्यादातर लोग हमेशा आपका गलत फायेदा उठाने की फिराक में रहते है बल्कि मैं तो ये कहूँगा की जो इंसान हमेशा अच्छा बनने की कोशिश में रहता है उसे लोग बहुत बुरी तरह से इस्तेमाल करते हैं,

मुझे पता है आपके साथ ऐसा कई बार हुआ है – इसलिए जब मैं आपसे कहता हूँ की स्वार्थी बनो तो इसका मतलब ये नहीं की किसी को धोखा दो – बस इतनी कोशिश कीजिये की आप हर उस इंसान को यान हर उस काम को न कहना सीख लीजिये जो आपके लिए जरुरी या फायेदेमंद नहीं है.

मतलब आप लोगों के लिए useful बनिए लेकिन किसी को खुद को यूज़ मत करने दीजिये. अक्सर होता क्या है – अच्छे बनने के चक्कर में यां किसी को बुरा न लगे इसलिए हम बहुत सारी ऐसी चीजों के लिए भी हाँ बोल देते हैं- जिनसे हमारा खुद का नुक्सान होता है – अब ये नुक्सान हमारे टाइम का भी हो सकता है और हमारे पैसे का भी हो सकता है. और हमारी खुशियों का भी हो सकता है.

आपके आस पास हमेशा ऐसे बहुत सारे लोग रहते हैं जो ये जानते हैं की आप उन्हें इनकार नहीं करेंगे इसलिए वो अक्सर आपके ऊपर कई तरह के प्रेशर बनाते रहते है- अब इस कंडीशन में होता ये है की आप उन्हें इनकार कर नहीं पाते और जो उन्होंने कहा है उसे करने के लिए आपका मन नहीं होता- और ऐसा करते करते आप अपनी जिंदगी के मकसद को तो भूल ही जाते हैं,

लेकिन अगर आप किसी भी सफल इंसान को देखें तो आपको उनके करैक्टर में ये चीज बड़ी साफ़ साफ़ दिखाई देगी की वो लोग अपनी बातों को लेकर अपने डिसीजन को लेकर बड़े क्लियर होते हैं- वो लोग किसी किसी को खुश करने के लिए अपना नुक्सान कभी नहीं करते- इसलिए उनके पास पूरा वक्त होता है खुद पर फोकस करने का – जिसकी वजह से वो हमेशा आगे बढ़ते रहते हैं

तो फ्रेंड्स अगर आप भी चाहते हैं की आप बेमतलब की टेंशन से बचे रहें तो गैरजरूरी चीजों की न कहना सीख लीजिये- और खुद पर फोकस कीजिये.

आज का सवाल भी यहीं है की क्या आप भी खुद से ज्यादा दसरों पर ध्यान देते हैं ?

जवाब कमेंट वॉक्स में जरुर बताएं –

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